Written by : Sanjay kumar
110 से अधिक खातों से 41 ग्राहकों के करोड़ों निकाले, OTP और मोबाइल नंबर तक बदल डाले; उद्योग नगर पुलिस की गिरफ्त में साक्षी गुप्ता
कोटा , राजस्थान। 04 जून 2025
उद्योग नगर थाना क्षेत्र स्थित डीसीएम इलाके में ICICI बैंक की श्रीराम नगर शाखा में एक महिला रिलेशनशिप मैनेजर द्वारा करोड़ों रुपए की धोखाधड़ी का सनसनीखेज मामला उजागर हुआ है। इस मामले में बैंक मैनेजर की शिकायत पर तत्कालीन रिलेशनशिप मैनेजर साक्षी गुप्ता को गिरफ्तार किया गया है। उसने लगभग ढाई साल तक लगातार 41 ग्राहकों के 110 से अधिक खातों से गुपचुप तरीके से ₹4.58 करोड़ से अधिक की राशि निकालकर शेयर मार्केट में निवेश कर दी।
मोबाइल नंबर बदले, OTP रोक दिए और डेबिट कार्ड से की छेड़छाड़
पुलिस जांच में सामने आया कि साक्षी ने धोखाधड़ी के दौरान न केवल खातों से पैसा निकाला, बल्कि ग्राहकों के मोबाइल नंबर बदलकर अपने रिश्तेदारों के नंबर दर्ज किए, जिससे ओटीपी व ट्रांजैक्शन अलर्ट खाताधारकों तक नहीं पहुंचे। इस दौरान कई मामलों में डेबिट कार्ड, पिन और ओटीपी का दुरुपयोग कर भारी मात्रा में लेन-देन किए गए।
एफडी तुड़वाकर और ओवरड्राफ्ट चालू कर उड़ाए करोड़ों
जांच में यह भी सामने आया कि साक्षी ने बिना अनुमति 31 ग्राहकों की फिक्स्ड डिपॉजिट तुड़वाकर ₹1.34 करोड़ से अधिक की राशि अनधिकृत खातों में ट्रांसफर की। उसने 40 खातों में अवैध रूप से ओवरड्राफ्ट सुविधा शुरू की और ₹3.40 लाख का पर्सनल लोन भी फर्जी तरीके से पास करवाया।
एक वरिष्ठ महिला ग्राहक के खाते से हुआ सबसे बड़ा गबन
एक वरिष्ठ महिला के खाते को ‘पूल अकाउंट’ के रूप में इस्तेमाल किया गया, जिसमें ₹3.22 करोड़ तक की राशि ट्रांसफर कर दी गई। महिला को खाते के संचालन की जानकारी नहीं थी। साक्षी ने उस खाते से शेयर मार्केट में निवेश किया, लेकिन अधिकांश पैसे डूब गए।
डिजिटल फ्रॉड का बड़ा जाल: Insta Kiosk, Internet Banking और D-Mat खाते तक इस्तेमाल
साक्षी गुप्ता ने धोखाधड़ी के लिए ICICI बैंक की डिजिटल सेवाओं का खुलकर दुरुपयोग किया। उसने Insta Kiosk, इंटरनेट बैंकिंग, एटीएम और डीमैट अकाउंट्स के जरिए ग्राहकों की गाढ़ी कमाई को शेयर मार्केट में शिफ्ट कर दिया।
18 फरवरी को दर्ज हुई FIR, 31 मई को गिरफ्तारी, एक दिन के रिमांड के बाद जेल भेजा गया
उद्योग नगर थाना के एसआई इब्राहिम ने बताया कि 18 फरवरी को बैंक मैनेजर तरुण दाधीच की ओर से शिकायत मिलने पर जांच शुरू की गई थी। धोखाधड़ी के पर्याप्त साक्ष्य मिलने के बाद 31 मई को साक्षी गुप्ता को गिरफ्तार किया गया। कोर्ट में पेशी के बाद एक दिन की रिमांड के बाद उसे जेल भेज दिया गया।
अब तक की सबसे सुनियोजित बैंक धोखाधड़ी, जांच जारी
यह धोखाधड़ी कोटा में अब तक की सबसे सुनियोजित और डिजिटल रूप से मास्टरमाइंड मानी जा रही है। पुलिस अब साक्षी से जुड़े अन्य खातों, परिजनों और संभावित नेटवर्क की जांच कर रही है। साथ ही बैंक की सुरक्षा प्रक्रियाओं पर भी सवाल उठ रहे हैं कि कैसे इतनी बड़ी राशि बिना किसी ऑडिट अलर्ट के निकलती रही।